बिहार में मॉनसून की बारिश ने कई जिलों में कहर बरपा दिया है, जिसमें पटना और रक्सौल जैसे प्रमुख शहरों में बाढ़ और अन्य प्राकृतिक आपदाएं शामिल हैं। पटना में एक मुख्य सड़क धंस जाने से यातायात बाधित हो गया है और लोगों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। अधिकारियों ने बताया कि यह हादसा अत्यधिक बारिश के कारण हुआ है, जिससे सड़क की नींव कमजोर हो गई थी। इस घटना ने प्रशासन की तैयारियों पर सवाल खड़े कर दिए हैं और लोगों में भय का माहौल पैदा कर दिया है।
रक्सौल में स्थिति और भी गंभीर है। यहां बाढ़ का पानी घरों में घुस गया है, जिससे लोगों का जीवन अस्त-व्यस्त हो गया है। कई लोग अपने घरों को छोड़कर सुरक्षित स्थानों की ओर पलायन कर रहे हैं। प्रशासन ने राहत और बचाव कार्य तेज कर दिए हैं, लेकिन अभी भी कई इलाकों में लोगों को मदद नहीं मिल पा रही है। बाढ़ के कारण पीने के पानी और खाने की समस्या भी उत्पन्न हो गई है।
बिहार के 32 जिलों में भारी बारिश का अलर्ट जारी किया गया है। मौसम विभाग ने आगामी दिनों में और भी अधिक बारिश होने की संभावना जताई है, जिससे स्थिति और बिगड़ सकती है। प्रशासन ने सभी जिलों में राहत और बचाव कार्यों के लिए टीमों को तैनात कर दिया है और लोगों को सतर्क रहने की सलाह दी है। विशेषकर नदियों के किनारे बसे इलाकों में लोगों को सावधानी बरतने की अपील की गई है।
आकाशीय बिजली की चपेट में आने से बिहार में 17 लोगों की मौत हो चुकी है। ये घटनाएं विभिन्न जिलों में हुई हैं, जहां लोग खेतों में काम कर रहे थे या खुले में थे। सरकार ने मृतकों के परिवारों को मुआवजा देने की घोषणा की है और लोगों को खराब मौसम के दौरान घर में रहने की सलाह दी है। प्रशासन ने बिजली गिरने की घटनाओं को कम करने के लिए जागरूकता अभियान भी शुरू किया है।
कुल मिलाकर, बिहार में मौजूदा मौसम ने राज्य के विभिन्न हिस्सों में गंभीर समस्याएं पैदा कर दी हैं। सड़क धंसने और बाढ़ जैसी घटनाओं ने प्रशासन की तैयारियों को चुनौती दी है। सरकार और प्रशासन द्वारा राहत कार्य जारी है, लेकिन स्थिति को सामान्य होने में समय लगेगा। लोगों से अपील है कि वे सतर्क रहें और प्रशासन के दिशा-निर्देशों का पालन करें।
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